कोरोना महामारी के तनाव कुछ जापानियों के विरोध के बीच आखिरकार टोक्यो ओलंपिक -2002 शुरु हो ही गए। लेकिन क्या आपको पता है कि सैकड़ों देशों के करीब 11 हजार खिलाड़ी इसमें भाग ले रहे हैं। लेकिन इनमें सबसे खास है यूनाइटेड नेशंस ह्यूमन राइट कमीशन की रिफ्यूजी ओलंपिक टीम। वो खिलाड़ी जो मूल रूप से किसी न किसी युद्ध ग्रस्त देश के रहने वाले हैं। इनमें से ज्यादातर एथलीट इराक़, सीरिया, अफगानिस्तान, लेबनान आदि देशों के रहने वाले हैं।
13 देशों के 56 होनहार शरणार्थी एथलीटों ने टोक्यो 2020 टीम में जगह बनाने की जद्दोजहद में हाड़तोड़ मेहनत की है। ऐसा नहीं है कि वो महज रस्म अदायगी के लिए तैयारी कर रहे थे। कुल जमा 56 शरणार्थी एथलीट 21 मेजबान देशों – ऑस्ट्रेलिया, ऑस्ट्रिया, बेल्जियम, ब्राजील, कनाडा, क्रोएशिया, मिस्र, फ्रांस, जर्मनी, इज़राइल, जॉर्डन, केन्या, लक्जमबर्ग, पुर्तगाल, नीदरलैंड, न्यूजीलैंड, त्रिनिदाद और टोबैगो, तुर्की, स्वीडन, स्विट्जरलैंड और यूनाइटेड किंगडम से आते हैं। ये वो देश हैं जिन्होंने इन खिलाड़ियों को शरण दी है। ये खिलाड़ी एथलेटिक्स, बैडमिंटन, बॉक्सिंग, कैनोइंग, साइकिलिंग, जूडो, कराटे, ताइक्वांडो, निशानेबाजी, तैराकी, भारोत्तोलन और कुश्ती जैसे खेलों में प्रतिभाग करेंगे।
इस शरणार्थी ओलंपिक टीम के गठन की अनाउंसमेंट जून 2021 में की गई थी। शरणार्थी ओलंपिक टीम में 11 देशों के 25 ऐसे रिफ्यूजी एथलीट जिन्हें आईओसी यानि इंटरनेशनल ओलंपिक एसोसिएशन ने स्कॉलरशिप दी है। ये एथलीट फिलहाल 13 मेजबान देशों (जहां शरण मिली है) में रह रहे हैं और ट्रेनिंग ले रहे हैं। वो कुल 12 खेलों में भाग लेंगे। आइये आपको बताते हैं इस अनोखी टीम की कुछ खास बातें –

(व्हाइट ड्रेस में)
• इंटरनेशनल जूडो फेडरेशन के रिफ्यूजी प्रोजेक्ट के चार एक्स्ट्रा एथलीटों को मिलाकर मिक्स्ड डबल्स की जूडो टीम बनती है। जिससे रिफ्यूजी टीम के सदस्यों की कुल संख्या 29 हो जाती है।
• शरणार्थी ओलंपिक टीम का आधिकारिक संक्षिप्त नाम EOR है, जो फ्रांसीसी नाम पर आधारित है: équipe olympique des réfugiés. इसको हिंदी में इस तरह पढ़ सकते हैं -एकीप ओलिंपिक दे रेफ्यूजिए, जिसका हिंदी में मतलब है – शरणार्थियों का ओलंपिक दल।

• उद्घाटन समारोह के दौरान, रिफ़्यूजी टीम ने ग्रीस के तुरंत बाद दूसरे स्थान पर ओलंपिक ध्वज के साथ मार्च किया था।
• टीम के सभी ऑफिशियल रिप्रेजेंटेशन (संभावित पदक विजेताओं सहित) के लिए, ओलंपिक ध्वज लहराया जाएगा, और ओलंपिक एंथम बजाया जाएगा।

• शरणार्थी ओलंपिक टीम के चीफ डी मिशन टेगला लोरूपे है। ओलंपिक खेलों के दौरान, आईओसी से डिप्टी चीफ डी मिशन ओलिवियर नियामकी और जिनेवा में यूएनएचसीआर से स्टीफन पैटिसन द्वारा भी मदद दी जाएगी।

• ओलंपिक खेलों में भाग लेने वाले अन्य सभी 206 दलों की तरह, रिफ़्यूजी टीम भी ओलंपिक विलेज में रहेगी और वहां उनका स्वागत समारोह भी आयोजित किया गया है।
• आईओसी टोक्यो ओलंपिक खेलों – 2020 के बाद भी शरणार्थी एथलीटों को सपोर्ट करती रहेगी।